Students of NIT Srinagar will be able to complete their studies from IIT Delhi
1.IIT दिल्ली से NIT श्रीनगर के स्टूडेंट्स पढ़ाई पूरी कर सकेंगे (Students of NIT Srinagar will be able to complete their studies from IIT Delhi)-
- IIT दिल्ली से NIT श्रीनगर के स्टूडेंट्स पढ़ाई पूरी कर सकेंगे (Students of NIT Srinagar will be able to complete their studies from IIT Delhi) क्योंकि दोनों इंस्टीट्यूट के बीच ऐसा समझौता हुआ है।एनआईटी श्रीनगर के स्टूडेंट्स यदि किसी कारणवश अपना कोर्स श्रीनगर से नहीं कर पाते हैं तो अपने शेष रहे सेमेस्टर आईआईटी दिल्ली से कर सकेंगे।
- इसके साथ ही पीएचडी प्रोग्राम में भी एनआईटी श्रीनगर के स्टूडेंट्स को आईआईटी दिल्ली में डाइरेक्ट एडमिशन का मौका मिलेगा।
(1.) आईआईटी दिल्ली और एनआईटी श्रीनगर के बीच हुआ समझौता (Agreement between IIT Delhi and NIT Srinagar)-
- दोनों इंस्टीट्यूट के बीच समझौता होने तथा आईआईटी दिल्ली के डायरेक्टर प्रो.वी.रामगोपाल राव के अनुसार दोनों इंस्टीट्यूट में रिसर्च और एकेडमिक एक्टिविटी में एक साथ काम को लेकर समझौता हुआ है।
- इस समझौते के अनुसार बीटेक प्रोग्राम के तीसरे वर्ष यानि छठवे सेमेस्टर में आठ सीजीपीए लेने वाले स्टूडेंट्स अपना अन्तिम वर्ष अर्थात् चौथा साल आईआईटी दिल्ली में पूरा कर सकते हैं।
- इसके अतिरिक्त समर और विंटर वेकेशन में अपना प्रोजेक्ट आईआईटी दिल्ली में आकर पूरा कर सकते हैं।
- ऐसे स्टूडेंट्स को आईआईटी दिल्ली अपने पीएचडी प्रोग्राम में डायरेक्ट एडमिशन का मौका देगा।
- आईआईटी दिल्ली ऐसे स्टूडेंट्स को पीएचडी प्रोग्राम में एडमिशन के लिए प्राथमिकता देगा।
- इसकी विशेषता यह है कि पीएचडी स्टूडेंट्स दोनों ही इंस्टीट्यूट के विशेषज्ञों की निगरानी में अपनी थीसिस और शोध कार्य को पूरा कर सकेंगे।
(2.)जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के स्टूडेंट्स को लाभ मिलेगा (Students of Jammu and Kashmir and Ladakh will get benefit)-
- इस समझौते के अनुसार दोनों संस्थानों के पीएचडी स्काॅलर्स शोध, सेमिनार और वर्कशाप में हिस्सा ले सकेंगे।
- शोध, सेमिनार और वर्कशाप में हिस्सा लेने और इसका फायदा उठाने पर स्टूडेंट्स से कोई अतिरिक्त फीस या शुल्क वसूल नहीं की जाएगी बल्कि जो फीस स्टूडेंट्स ने एनआईटी श्रीनगर में दी होगी उसी फीस के अन्तर्गत उपर्युक्त प्रोग्राम की सुविधा उपलब्ध होगी।
- एनआईटी श्रीनगर में 50 प्रतिशत सीटें जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के लिए आरक्षित (रिजर्व) होती है।
- ऐसी स्थिति में आईआईटी दिल्ली और एनआईटी श्रीनगर के बीच हुए इस समझौते का सबसे अधिक लाभ जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के स्टूडेंट्स को होगा।
- आपको यह जानकारी रोचक व ज्ञानवर्धक लगे तो अपने मित्रों के साथ इस गणित के आर्टिकल को शेयर करें।यदि आप इस वेबसाइट पर पहली बार आए हैं तो वेबसाइट को फॉलो करें और ईमेल सब्सक्रिप्शन को भी फॉलो करें।जिससे नए आर्टिकल का नोटिफिकेशन आपको मिल सके ।यदि आर्टिकल पसन्द आए तो अपने मित्रों के साथ शेयर और लाईक करें जिससे वे भी लाभ उठाए ।आपकी कोई समस्या हो या कोई सुझाव देना चाहते हैं तो कमेंट करके बताएं। इस आर्टिकल को पूरा पढ़ें।
Also Read This Article-IIT students got jobs in Corona period
2.एनआईटी श्रीनगर के छात्र अब आईआईटी दिल्ली में पीएचडी कर सकते हैं का सारांश (Conclusion of NIT Srinagar Students Can Now Pursue PhD at IIT Delhi)-
- देश के शीर्षस्थ संस्थानों में पढ़नेवाले छात्रों को आईआईटी या एनआईटी तथा इसी प्रकार के संस्थानों में कोर्सेज करते समय कई बार प्रतिकूल परिस्थितियां उत्पन्न हो जाती हैं। इसलिए वे इतने लम्बे समय तक उस कोर्स को जारी नहीं रख पाते हैं तथा इन कोर्सेज को उन्हें बीच में ही छोड़ना पड़ता है।इस प्रकार की स्थिति छात्र-छात्राओं के लिए दु:खद है क्योंकि छात्र-छात्राएं कड़ी मेहनत तथा कई वर्षों की मेहनत करके इन शीर्षस्थ कोर्सेज में प्रवेश पाते हैं।
- प्रतिकूल परिस्थितियां कोई भी हो सकती है जैसे परिवार में कोई दुर्घटना घटित हो गई हो, जम्मू-कश्मीर व लद्दाख का वातावरण अनुकूल न हो, जम्मू-कश्मीर में आंतकवादी गतिविधियों में वृद्धि हो गई हो, छात्र-छात्राओं के माता-पिता व अभिभावक अपना रोजगार दिल्ली में या अन्य जगह स्थानान्तरित कर दिया हो, छात्र-छात्राओं के माता-पिता व अभिभावक का प्राइवेट या सरकारी सेवा से स्थानान्तरण हो गया हो इत्यादि कोई भी कारण हो सकता है।
- इस प्रकार की स्थितियों में स्टूडेंट्स एनआइटी श्रीनगर में अपनी पढ़ाई जारी नहीं रख सकते हों तो उनके लिए यह समझौता बहुत फायदेमंद हो सकता है।
इसी प्रकार उच्च संस्थानों द्वारा छात्रों के हित में समझौते या निर्णय लिए जाए तो छात्रों को बीच में ही अपना कोर्सेज छोड़ने की नौबत नहीं आएगी। - कई छात्र बीच में ही विपरीत परिस्थितियों के कारण अपना कोर्स छोड़ देते हैं और वे आगे अपनी पढ़ाई जारी नहीं रख पाते हैं।इस प्रकार के निर्णय से छात्र-छात्राओं को कोर्स पूरा करने में मदद मिल सकेगी।
- इस प्रकार IIT दिल्ली से NIT श्रीनगर के स्टूडेंट्स पढ़ाई पूरी कर सकेंगे (Students of NIT Srinagar will be able to complete their studies from IIT Delhi),एनआईटी श्रीनगर के छात्र अब आईआईटी दिल्ली में पीएचडी कर सकते हैं (NIT Srinagar Students Can Now Pursue PhD at IIT Delhi),आईआईटी दिल्ली अपने पीएचडी प्रोग्रामों में एनआईटी श्रीनगर के छात्रों को सीधे प्रवेश प्रदान करेगा (IIT Delhi will provide direct admission to NIT Srinagar students in their Ph.D programmes)।
- नीचे आर्टिकल में IIT दिल्ली से NIT श्रीनगर के स्टूडेंट्स पढ़ाई पूरी कर सकेंगे (Students of NIT Srinagar will be able to complete their studies from IIT Delhi) के साथ-साथ आईआईटी दिल्ली तथा एनआईटी श्रीनगर के बारे में जानकारी देना भी प्रासंगिक होगा।
3.आईआईटी दिल्ली (IIT Delhi)-
- प्रौद्योगिकी दिल्ली (IIT दिल्ली के रूप में संक्षिप्त) एक सार्वजनिक तकनीकी और अनुसंधान विश्वविद्यालय है जो हौज़ खास, दिल्ली, भारत में स्थित है।यह भारत के सबसे पुराने भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थानों में से एक है।
- 1961 में स्थापित, औपचारिक रूप से अगस्त 1961 में प्रो। हुमायूँ कबीर, वैज्ञानिक अनुसंधान और सांस्कृतिक मामलों के मंत्री द्वारा उद्घाटन किया गया था।पहले प्रवेश 1961 में किए गए थे।वर्तमान परिसर में 320 एकड़ (या 1.3 किमी 2) का क्षेत्र है और पूर्व में श्री अरबिंदो मार्ग, पश्चिम में जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय परिसर,दक्षिण में राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद बसा हुआ है और उत्तर की ओर न्यू रिंग रोड और कुतुब मीनार और हौज़ खास स्मारकों द्वारा निकाली गई।
- संस्थान को बाद में इंस्टीट्यूट ऑफ नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी संशोधन अधिनियम,1963 के तहत राष्ट्रीय महत्व के संस्थानों में बदल दिया गया और अपनी शैक्षणिक नीति तय करने,अपनी परीक्षाएं आयोजित करने और अपनी खुद की डिग्री प्रदान करने के लिए शक्तियों के साथ एक पूर्ण विश्वविद्यालय का दर्जा दिया।
- 2018 में IIT दिल्ली को भारत सरकार द्वारा इंस्टीट्यूशन ऑफ एमिनेंस (IoE) का दर्जा भी दिया गया,जिसने लगभग पूर्ण स्वायत्तता प्रदान की।पहले जारी किए गए एक सरकारी बयान के अनुसार, इन IoE में अधिक स्वायत्तता होगी कि वे 30% तक विदेशी छात्रों को प्रवेश दे सकेंगे और 25% तक संकाय की ताकत बढ़ाने के लिए विदेशी शोधार्थियों को भर्ती कर सकेंगे।
4.एनआईटी श्रीनगर (NIT Srinagar)-
- राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान श्रीनगर (NIT श्रीनगर या NITSRI) [National Institute of Technology] श्रीनगर, जम्मू और कश्मीर, भारत में स्थित एक सार्वजनिक तकनीकी विश्वविद्यालय है।यह 31 राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थानों (एनआईटी) में से एक है और ऐसा सीधे मानव संसाधन विकास मंत्रालय (एमएचआरडी) के नियंत्रण में है। यह 1960 में भारत सरकार द्वारा द्वितीय पंचवर्षीय योजना (1956–61) के भाग के रूप में स्थापित कई क्षेत्रीय इंजीनियरिंग कॉलेजों में से एक के रूप में स्थापित किया गया था।यह राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान अधिनियम, 2007 द्वारा शासित है, जिसने इसे राष्ट्रीय महत्व का संस्थान घोषित किया है।
- एनआईटीएसआरआई अपने स्नातक छात्रों को संयुक्त प्रवेश परीक्षा (मेन्स),पहले एआईईईई के माध्यम से मानता है।इसमें इंजीनियरिंग, एप्लाइड साइंसेज, मानविकी और सामाजिक विज्ञान कार्यक्रमों को कवर करने वाले 12 शैक्षणिक विभाग हैं।साथ ही,शिक्षा का माध्यम अंग्रेजी है।
5.आईआईटी दिल्ली एमटेक प्रवेश (IIT Delhi Mtech Admission)-
- अपनी खुद की शैक्षणिक नीति तय करने, अपनी परीक्षाएं आयोजित करने और अपनी डिग्री प्रदान करने के लिए शक्तियों के साथ एक डीम्ड विश्वविद्यालय का दर्जा दिया गया था।
- अपनी स्थापना के बाद से, 48000 से अधिक इंजीनियरिंग, शारीरिक विज्ञान, प्रबंधन और मानविकी और सामाजिक विज्ञान सहित विभिन्न विषयों में IIT दिल्ली से स्नातक किया है।इनमें से लगभग 5070 ने पीएच.डी. डिग्री की है। बीटेक के साथ स्नातक करने वाले छात्रों की संख्या 15738 से अधिक है। बाकी ने इंजीनियरिंग, विज्ञान और व्यवसाय प्रशासन में मास्टर डिग्री प्राप्त की।ये पूर्व छात्र आज वैज्ञानिकों,प्रौद्योगिकीविदों, व्यवसाय प्रबंधकों और उद्यमियों के रूप में काम करते हैं।कई पूर्व छात्र हैं जो अपने मूल विषयों से दूर चले गए हैं और प्रशासनिक सेवाओं, सक्रिय राजनीति में ले गए हैं या एनजीओ के साथ हैं।ऐसा करने में,उन्होंने इस राष्ट्र के निर्माण में और दुनिया भर में औद्योगिकीकरण में महत्वपूर्ण योगदान दिया है।
6.भारत में कुल आईआईटी (Total IIT in India)-
- वर्तमान में, बॉम्बे, दिल्ली, कानपुर, खड़गपुर, मद्रास, गुवाहाटी, रुड़की, हैदराबाद, पटना, भुवनेश्वर, रोपड़, जोधपुर, गांधीनगर, इंदौर, मंडी और वाराणसी में सोलह आईआईटी हैं। इन 16 में से 10 2004 के बाद स्थापित किए गए थे। भारत ने कुछ आईआईटी की स्थापना के लिए विभिन्न प्रकार की सहायता प्राप्त की।
- (1.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, मद्रास (IIT-M), तमिलनाडु (NIRF Ranking-1, Btech Seats-505)
- (2.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, बॉम्बे (IIT-B),महाराष्ट्र (NIRF Ranking-3, Btech Seats-778)
- (3.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान,खड़गपुर (IIT-Kgp), पश्चिम बंगाल (NIRF Ranking-5, Btech Seats-690)
- (4.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, दिल्ली (IIT-D),नई दिल्ली (NIRF Ranking-2, Btech Seats-799)
- (5.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान,कानपुर (IIT-K),उत्तर प्रदेश (NIRF Ranking-4, Btech Seats-713)
- (6.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, रुड़की (IIT-R),उत्तराखंड (NIRF Ranking-6, Btech Seats-879)
- (7.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, गुवाहाटी (IIT-G),Assam (NIRF Ranking-7, Btech Seats-702)
- (8.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, हैदराबाद (IIT-H), तेलंगाना (NIRF Ranking-8, Btech Seats-294
- (9.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, इंदौर (IIT-I),मध्य प्रदेश (NIRF Ranking-10, Btech Seats-275)
- (10.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, भुवनेश्वर (IIT-BBS), Odisha (NIRF Ranking-22, Btech Seats-273)
- (11.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, पटना (IIT-P), Bihar (NIRF Ranking-26, Btech Seats-250)
- (12.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, रोपड़,Punjab (NIRF Ranking-25, Btech Seats-297)
- (13.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान,(इंडियन स्कूल ऑफ माइन्स),धनबाद ,झारखंड (NIRF Ranking-12, Btech Seats-919))
- (14.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, मंडी,हिमाचल प्रदेश (NIRF Ranking-31, Btech Seats-200)
- (15.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, गांधीनगर,गुजरात (NIRF Ranking-24, Btech Seats-194)
- (16.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान,(बनारस हिंदू विश्वविद्यालय),वाराणसी,उत्तर प्रदेश (NIRF Ranking-11, Btech Seats-876)
- (17.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, जोधपुर, Rajasthan (NIRF Ranking-53, Btech Seats-247)
- (18.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान,जम्मू,जम्मू और कश्मीर लागू नहीं (NA) (NIRF Ranking-NA),(Btech Seats-154)
- (19.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान,गोवा,गोवा लागू नहीं(NA) (NIRF Ranking-NA),(Btech Seats-97)
- (20.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान,धारवाड़,कर्नाटक
लागू नहीं (एनए) (NIRF Ranking-NA),(Btech Seats-126) - (21.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान पलक्कड़,केरल
लागू नहीं (एनए) (NIRF Ranking-NA),(Btech Seats-163) - (22.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान तिरुपति,आंध्र प्रदेश
लागू नहीं (एनए) (NIRF Ranking-NA),(Btech Seats-180) - (23.)भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान भिलाई,छत्तीसगढ
7.आईआईटी दिल्ली अपने पीएचडी प्रोग्रामों में एनआईटी श्रीनगर के छात्रों को सीधे प्रवेश प्रदान करेगा (IIT Delhi will provide direct admission to NIT Srinagar students in their Ph.D programmes),IIT दिल्ली से NIT श्रीनगर के स्टूडेंट्स पढ़ाई पूरी कर सकेंगे (Students of NIT Srinagar will be able to complete their studies from IIT Delhi)-
- अवसर: अब एनआईटी श्रीनगर के छात्र आईआईटी दिल्ली से अपनी पढ़ाई पूरी कर सकेंगे, पीएचडी कार्यक्रम में सीधे प्रवेश का भी मौका होगा।
- नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (NIT) श्रीनगर में B.Tech प्रोग्राम के आखिरी सेमेस्टर में पढ़ने वाले छात्र अब IIT दिल्ली से अपनी पढ़ाई पूरी कर सकेंगे। आईआईटी दिल्ली ऐसे छात्रों को पीएचडी कार्यक्रम में प्रवेश के लिए वरीयता देगा।खास बात यह है कि दोनों पीएचडी छात्र संस्थान के विशेषज्ञों की देखरेख में अपनी थीसिस और शोध कार्य पूरा कर सकेंगे।
- दोनों संस्थानों के बीच समझौता
- इस संबंध में, आईआईटी-दिल्ली के निदेशक प्रो. वी. राम गोपाल राव ने कहा कि दोनों संस्थानों में अनुसंधान और शैक्षणिक गतिविधि में एक साथ काम करने के लिए एक समझौता हुआ है।इसके तहत बीटेक प्रोग्राम के तीसरे वर्ष (छठे सेमेस्टर) में आठ सीजीपीए लेने वाले छात्र आईआईटी दिल्ली में अपना चौथा वर्ष पूरा कर सकते हैं।इसके अलावा, वह आईआईटी-दिल्ली में गर्मी और सर्दियों की छुट्टी में अपनी परियोजना को पूरा करने में सक्षम होंगे।ऐसे छात्रों के लिए,आईआईटी दिल्ली अपने पीएचडी कार्यक्रम में सीधे प्रवेश की अनुमति देगा।
- जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के छात्रों को फायदा होगा
- इसके तहत दोनों संस्थानों के पीएचडी विद्वान भी अनुसंधान, सेमिनार और कार्यशालाओं में भाग लेंगे।इसके लिए छात्रों से कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लिया जाएगा, जो शुल्क उन्होंने एनआईटी श्रीनगर में अदा किया है वह मान्य होगा।एनआईटी श्रीनगर में, 50 प्रतिशत सीटें जम्मू और कश्मीर और लद्दाख के छात्रों के लिए आरक्षित हैं।ऐसी स्थिति में, जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के छात्र IIT दिल्ली और NDA श्रीनगर के बीच इस समझौते के सबसे बड़े लाभार्थी होंगे।
- इस आर्टिकल में IIT दिल्ली से NIT श्रीनगर के स्टूडेंट्स पढ़ाई पूरी कर सकेंगे (Students of NIT Srinagar will be able to complete their studies from IIT Delhi),एनआईटी श्रीनगर के छात्र अब आईआईटी दिल्ली में पीएचडी कर सकते हैं (NIT Srinagar Students Can Now Pursue PhD at IIT Delhi),आईआईटी दिल्ली अपने पीएचडी प्रोग्रामों में एनआईटी श्रीनगर के छात्रों को सीधे प्रवेश प्रदान करेगा (IIT Delhi will provide direct admission to NIT Srinagar students in their Ph.D programmes) के बारे में बताया गया है।
Also Read This Article-IIT JEE Main 2021 registration started
No. | Social Media | Url |
---|---|---|
1. | click here | |
2. | you tube | click here |
3. | click here | |
4. | click here | |
5. | Facebook Page | click here |